गुजरात के नवसारी की एक अदालत ने कांग्रेस विधायक अनंत पटेल को सजा सुनाई है। अनंत पटेल पर यह मामला साल 2017 के एक प्रदर्शन से जुड़ा है। उन पर एक कृषि विश्वविद्यालय के कुलपति के कक्ष में प्रवेश करने और छात्रों के विरोध के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तस्वीर फाड़ने का आरोप है। अदालत ने कांग्रेस विधायक के आरोपों को सही पाया और उन्हें सजा के तौर पर 99 रुपए जुर्माने का आदेश दिया।
अतिरिक्त मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट वीए धधल की अदालत ने वंसदा (अनुसूचित जाति) सीट से विधायक अनंत पटेल को भारतीय दंड संहिता की धारा 447 के तहत आपराधिक अतिचार के लिए दोषी पाया। पटेल और युवा कांग्रेस के सदस्यों सहित छह अन्य पर आईपीसी की धारा 143 (गैरकानूनी विधानसभा), 353 (हमला), 427 (शरारत से 50 रुपये से ऊपर की हानि), 447 (आपराधिक अतिचार) और 504 (जानबूझकर अपमान) के तहत मामला दर्ज किया गया था। यह रिपोर्ट मई 2017 में जलालपुर पुलिस थाने में लिखी गई थी।
क्या था आरोप
अनंत पटेल और अन्य पर छात्रों के विरोध प्रदर्शन के दौरान नवसारी कृषि विश्वविद्यालय के कुलपति के कार्यालय में प्रवेश करने, खराब व्यवहार करने और वीसी की मेज पर रखे पीएम मोदी की तस्वीर को फाड़ने का आरोप लगा था। अदालत ने मामले में पटेल समेत तीन अभियुक्तों को आपराधिक अतिचार का दोषी पाया और उन्हें 99 रुपये का जुर्माना जमा करने का आदेश दिया। जुर्माना नहीं भरने की सूरत में उन्हें सात दिन कारावास की सजा सुनाई जाएगी।
पटेल को 3 महीने कैद की थी मांग
अभियोजन पक्ष की ओर से अनंत पटेल पर आईपीसी की धारा 447 के तहत अधिकतम सजा की मांग की गई। जिसमें तीन महीने तक की जेल और 500 रुपये का जुर्माना है। हालांकि, बचाव पक्ष के वकील ने मामले में दलील पेश की कि प्राथमिकी राजनीतिक प्रतिशोध का परिणाम है क्योंकि आरोपी विपक्षी दल कांग्रेस के सदस्य हैं।