राजस्थान में विधानसभा उपचुनाव के लिए मतदान जारी है। 7 सीटों पर हो रहे चुनाव के लिए सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए है। इस बीच, टोंक जिले की देवली-उनियारा सीट से निर्दलीय प्रत्याशी नरेश मीणा ने एसडीएम को थप्पड़ मारने की खबर है। मालपुरा एसडीएम अमित चौधरी को थप्पड़ मारने का वीडियो वायरल हुआ है। राजस्थान में एक निर्दलीय प्रत्याशी ने एसडीएम को थप्पड़ मारा जिसका वीडियो सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हो रहा है। विधानसभा उपचुनाव के लिए चल रहे मतदान के दौरान देवली-उनियारा विधानसभा क्षेत्र में एक निर्दलीय उम्मीदवार ने चुनाव ड्यूटी पर तैनात एक अधिकारी एसडीएम को थप्पड़ मार दिया।
यह वाकया कांग्रेस से बागी होकर निर्दलीय के रूप में चुनाव लड़ रहे नरेश मीणा से जुड़ा है। उन्होंने चुनाव ड्यूटी पर तैनात मालपुरा के उपखंड अधिकारी अमित चौधरी का कॉलर पकड़ लिया। जिला निर्वाचन अधिकारी और टोंक कलेक्टर सौम्या झा ने बताया कि समरावता गांव के मतदाताओं ने अपनी एक मांग के समर्थन में मतदान का बहिष्कार करने की घोषणा की थी, लेकिन मतदान केंद्र और बूथ तक पहुंचने वाला रास्ता खुला था।
जिला निर्वाचन अधिकारी ने बताया कि जब एसडीएम चौधरी जब लोगों को वोट डालने के लिए मनाने वहां गए तो निर्दलीय प्रत्याशी ने उन्हें थप्पड़ मार दिया। नरेश उन ग्रामीणों का समर्थन कर रहे थे जिन्होंने मतदान का बहिष्कार करने की घोषणा की थी। जिला कलेक्टर ने बताया, “यह गांव वर्तमान में नगर फोर्ट तहसील में आता है और ग्रामीण गांव को उनियारा तहसील के अंतर्गत लाने की मांग कर रहे हैं जो उनके गांव के पास है।उन्होंने कहा कि ग्रामीणों ने कुछ दिन पहले यह मांग उठाई थी और उन्हें 30 अक्टूबर को आश्वासन दिया गया था कि आदर्श आचार संहिता हटने के बाद इस मामले पर विचार किया जाएगा।
राजस्थान विधानसभा उपचुनाव के आज वोटिंग
राजस्थान विधानसभा उपचुनाव के लिए आज मतदान हो रहा है। 7 विधानसभा सीटों दौसा, झुंझुनूं, देवली उनियारा, रामगढ़, खींवसर, सलूंबर और चौरासी में कुल 69 उम्मीदवार चुनावी मैदान में हैं। दौसा विधानसभा सीट किरोड़ी लाल मीणा और सचिन पायलट की वजह से हॉट सीट बन गई है. बीजेपी से मंत्री किरोड़ी लाल मीणा के भाई जगन मोहन मीणा मैदान में हैं। वहीं, पायलट परिवार के नजदीकी माने जाने वाले दीनदयाल बैरवा कांग्रेस के उम्मीदवार हैं। खींवसर विधानसभा सीट से आरएलपी के प्रमुख हनुमान बेनीवाल की पत्नी कनिका बेनीवाल चुनावी मैदान में हैं। आदिवासी बेल्ट की चौरासी सीट में भी तेजी से उभरने वाली भारत आदिवासी पार्टी के सामने अपना गढ़ बचाने की चुनौती है।