राजस्थान के जोधपुर में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने सोमवार को कांग्रेस पर जमकर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि कांग्रेस नेता राहुल गांधी को अब लोकतंत्र के बारे में बात करने का कोई अधिकार नहीं है, क्योंकि उनकी दादी और पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी ने आपातकाल लगाया था। उस दौरान लाखों लोगों को जेल में डाल दिया गया था और राजनीतिक दलों पर प्रतिबंध लगा दिया गया था।
भाजपा नेता शाह ने रविवार को दिल्ली के रामलीला मैदान में ‘लोकतंत्र बचाओ’ रैली को लेकर इंडिया गठबंधन की पार्टियों पर भी पलटवार किया। उन्होंने कहा कि चाहे आप कितनी भी पार्टियां इकट्ठा कर लें, चुनाव के बाद प्रधानमंत्री के रूप में केवल मोदी ही आने वाले हैं। गृह मंत्री ने जोधपुर में अपनी चुनावी रैली में कहा कि जो भ्रष्टाचार करेगा वह सलाखों के पीछे जाएगा। उन्होंने कहा कि देश की जनता नरेंद्र मोदी को तीसरी बार प्रधानमंत्री बनाने के लिए तैयार है। उनके अगले कार्यकाल में भारत तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन जाएगा।
अमित शाह की यह प्रतिक्रिया भारत के शीर्ष नेताओं द्वारा लोकतंत्र और संविधान को बचाने के लिए तथा भाजपा को हराने के लिए लोगों से आह्वान करने के एक दिन बाद आई है। विपक्ष के शीर्ष नेताओं द्वारा आरोप लगाया गया है कि सरकार के ‘तानाशाही’ कार्यों के कारण विपक्ष लोकसभा चुनावों में समान अवसर से वंचित हो गया है।
गौरतलब है कि कांग्रेस के वरिष्ठ नेता राहुल गांधी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर लोकसभा चुनाव में ‘मैच फिक्सिंग’ करने की कोशिश करने का आरोप लगाया था। उन्होंने चेतावनी दी थी कि अगर बीजेपी इस प्रयास से चुनाव जीतती है और संविधान में ‘बदलाव’ करती है, तो पूरा देश खत्म हो जाएगा।
सार्वजनिक बैठक (लोकतंत्र बचाओ) का उद्देश्य आप प्रमुख सह दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और झामुमो नेता हेमंत सोरेन की गिरफ्तारी और विपक्षी पार्टियों को आयकर नोटिस के बाद उनके नेताओं के खिलाफ एजेंसियों के कथित दुरुपयोग सहित ‘लोकतंत्र पर हमले’ के मुद्दे को उजागर करना था।